मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और स्वास्थ्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत के निर्देशों पर स्वास्थ्य सचिव एवं खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन आयुक्त डॉ. आर. राजेश कुमार के आदेशानुसार राज्यभर में निम्न गुणवत्ता की औषधियों के विरुद्ध सघन औचक निरीक्षण अभियान चलाया जा रहा है। अभियान का नेतृत्व अपर आयुक्त (एफडीए) एवं ड्रग कंट्रोलर ताजबर सिंह जग्गी कर रहे हैं। अब तक प्रदेशभर से 370 से अधिक औषधि नमूने जांच हेतु संकलित किए जा चुके हैं।
रामनगर, देहरादून और रुड़की में कार्रवाई
रामनगर के खताड़ी क्षेत्र में औचक निरीक्षण के दौरान गंभीर अनियमितताएं पाए जाने पर एक मेडिकल स्टोर को तत्काल बंद किया गया, जबकि दो को दिशा-निर्देश दिए गए। टीम ने एक क्लीनिक से पांच औषधीय नमूने जांच के लिए लिए। देहरादून में औषधि निरीक्षक मानेंद्र सिंह राणा के नेतृत्व में मेडिकल स्टोर्स और सेलाकुई स्थित औषधि विनिर्माण इकाइयों का निरीक्षण किया गया, जहां प्रतिबंधित बच्चों की दवाएं सील की गईं।
हरिद्वार जिले के रुड़की क्षेत्र में गुप्त सूचना पर की गई छापेमारी में बिना लाइसेंस के सरकारी दवाओं का अवैध भंडारण व बिक्री पकड़ी गई। मौके से राजस्थान और मध्यप्रदेश सरकार की सप्लाई वाली 12 प्रकार की एलोपैथिक दवाएं जब्त की गईं। आगे की कार्रवाई Drugs and Cosmetics Act, 1940 के तहत की जाएगी।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि बच्चों की सुरक्षा और जनस्वास्थ्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। दो वर्ष से कम आयु के बच्चों को किसी भी स्थिति में प्रतिबंधित सिरप न दिए जाने के निर्देश जारी किए गए हैं।
स्वास्थ्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने कहा कि विभाग की कार्रवाई सतत और प्रभावी रहेगी, किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
स्वास्थ्य सचिव डॉ. आर. राजेश कुमार और अपर आयुक्त ताजबर सिंह जग्गी ने स्पष्ट किया कि अभियान लगातार जारी रहेगा और नियमों का उल्लंघन करने वालों पर कठोरतम कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।
Reported By: Arun Sharma













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